Sunday, December 24, 2017

भ्रष्टाचार के कीटाणुओं से ग्रसित नौकरशाही को RTI की खुराक देकर करें स्वस्थ : उर्वशी शर्मा




















Lucknow/24-12-2017…………आज उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के ऐशबाग क्षेत्र में आयोजित आरटीआई कार्यशाला में सूबे के सुदूर जिलों से आये आगंतुकों का स्वागत करते हुए येश्वर्याज की संस्थापिका और प्रबंधकीय सदस्य उर्वशी शर्मा ने वर्तमान परिपेक्ष्य में सूचना का अधिकार कानून की बढ़ती प्रासंगिकता पर विस्तार से चर्चा की l देश की नौकरशाही को भ्रष्टाचार के कीटाणुओं से ग्रसित बताते हुए उर्वशी ने आरटीआई के कीटनाशक का अधिक से अधिक प्रयोग करके नौकशाही को  स्वस्थ करने की जरूरत पर बल दिया l उर्वशी ने बताया कि अधिकांश लोकसेवक आरटीआई एक्ट को अपने ऊपर जबरदस्ती थोपा गया बेबजह का कानून मानते हैं जबकि  यह एक्ट इन सरकारी कर्मचारियों को अपने मालिक अर्थात देश के  नागरिकों को इन लोकसेवकों द्वारा किये जा रहे कार्यों के वारे में लगातार सूचित और अपडेट कर बेहतर सेवा प्रदान करने के उनके कर्तव्यों में मदद करके अपेक्षाकृत पारदर्शी , उत्तरदायी भ्रष्टाचार मुक्त और बेहतर प्रशासन को बनाए रखने के लिए लाया गया कानून है।

कार्यक्रम के आगंतुकों को नई दिल्ली की संस्था कॉमनवेल्थ ह्यूमन राइट्स इनीशिएटिव की ओर से येश्वर्याज को उपलब्ध कराई गईं आरटीआई गाइड्स का निःशुल्क वितरण किया गया l

टेक्निकल सत्र की शुरुआत करते हुए आरटीआई एक्सपर्ट और इंजीनियर संजय शर्मा ने सूचना के अधिकार को संविधान के अनुच्छेद 19 और 21 के तहत दिया गया मूल अधिकार बताते हुए कहा कि यह  नौकरशाही की जिम्मेदारी है कि संविधान में गरीबों के लिए किये गए सभी वादे  पूरे किये जाएँ और आरटीआई को सरकारों के गुड गवर्नेंस एजेंडे को प्राप्त करने के लिए आवश्यक होने के विषय पर विस्तार से चर्चा की l  भारत सरकार के कार्मिक एवं प्रशिक्षण विभाग द्वारा प्रमाणित किये गए आरटीआई एक्सपर्ट संजय ने आरटीआई एक्ट को आम जनता को दिए गए सभी अधिकारों, जिनमें कानूनी अधिकार भी हैं, को प्राप्त करने में सहायता करने के लिए लाया गया कानून बताया l 


कार्यक्रम में अधिवक्ता अशोक कुमार शुक्ल और अधिवक्ता रुवैद कमाल किदवई और ज्ञानेश पाण्डेय ने प्रतिभागियों द्वारा आरटीआई शुल्क, प्रगटन से छूट प्राप्त सूचनाओं,भ्रष्टाचार रोकथाम में आरटीआई की भूमिका,सहायक जन सूचना अधिकारियों,जन सूचना अधिकारियों और प्रथम अपीलीय अधिकारियों के कर्तव्यों, यूपी आरटीआई नियमावली 2015 के नए प्राविधानों के साथ साथ अधिनियम के प्रयोग में आरटीआई आवेदकों को आ रही समस्याओं आदि विषयों पर विस्तृत चर्चा की l संजय, अशोक,ज्ञानेश, रुवैद और  उर्वशी ने  आरटीआई प्रयोगकर्ताओं द्वारा उठाये गए सबालों के जबाब देकर उनकी जिज्ञासाओं को शांत किया  l

कार्यक्रम में दबीर सिद्दीकी,सरदार कवलजीत सिंह,जय विजय,तनवीर अहमद सिद्दीकी,राम स्वरुप यादव समेत यूपी के विभिन्न  जिलों से आये लोगों ने प्रतिभाग किया l

अंत में कार्यक्रम की आयोजिका आरटीआई कार्यकत्री और अपंजीकृत सामाजिक संगठन येश्वर्याज की संस्थापिका और प्रबंधकीय सदस्य उर्वशी शर्मा ने आयोजन के लिए निःशुल्क स्थान देने के लिए कवलजीत सिंह को  और निःशुल्क सेवाएं देने के लिए संजय,रुवैद और अशोक के साथ-साथ कार्यक्रम में आने के लिए सभी प्रतिभागियों को धन्यवाद ज्ञापित किया और सभी आगंतुकों से  पारदर्शी  और जबाबदेह लोकतंत्र की स्थापना के लिए आरटीआई एक्ट का अधिक से अधिक प्रयोग और प्रचार-प्रसार करने की अपेक्षा की l


Saturday, December 23, 2017

24-12-17 को लखनऊ में RTI ट्रेनिंग प्रोग्राम करेगा येश्वर्याज l




सामाजिक संगठन येश्वर्याज दिनांक 24 दिसम्बर 2017 को लखनऊ में  सूचना के अधिकार पर ट्रेनिंग का प्रोग्राम आयोजित कर रहा है जिसका विवरण निम्नवत है :
सूचना का अधिकार अधिनियम 2005 पर कार्यशाला
स्थान                                              : 278/33/1, सरदार जी बिल्डिंग, ऐशबाग पुलिस चौकी के पास, ऐशबाग, लखनऊ
दिनांक एवं दिन                              : 24 दिसम्बर 2017, रविवार
पंजीकरण ( निःशुल्क ) समय          : 11 बजे पूर्वाह्न से 12 बजे दोपहर तक 
कार्यशाला ( निःशुल्क ) समय         : 12 बजे दोपहर से 4 बजे अपराह्न तक
आयोजक संस्था                                : येश्वर्याज ( अपंजीकृत सामाजिक संगठन )
                                                           संस्थापिका एवं प्रबंधकीय सदस्य – येश्वर्याज
आयोजिका                                        : उर्वशी शर्मा ( समाजसेविका और आरटीआई कार्यकत्री )
निःशुल्क आरटीआई गाइड वितरण  : कॉमनवेल्थ ह्यूमन राइट्स इनिशिएटिव, नई दिल्ली के सौजन्य से
संपर्क मोबाइल                                   : 8081898081, 9369613513
संपर्क ई-मेल                                       : yaishwaryaj@gmail.com

Thursday, December 21, 2017

RTI एक्टिविस्ट उर्वशी शर्मा ने UP सूचना आयोग को दिया CIC की तर्ज पर वार्षिक अधिवेशन बुलाने का प्रस्ताव l

     



लखनऊ/22 दिसम्बर 2017 .......................
उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ स्थित सामाजिक संगठन येश्वर्याज की संस्थापिका और आरटीआई कार्यकत्री उर्वशी शर्मा ने आज उत्तर प्रदेश राज्य सूचना आयोग के मुख्य सूचना आयुक्त,रजिस्ट्रार,सचिव और उपसचिव को अलग-अलग  पत्र भेजकर यूपी सूचना आयोग  में हर साल केन्द्रीय सूचना आयोग ( CIC ) की तर्ज पर वार्षिक सम्मलेन बुलाने की मांग की है और इस सम्बन्ध में एक प्रस्ताव आयोग को दिया है l

उर्वशी ने बताया कि येश्वर्याजलखनऊ स्थित एक अपंजीकृत सामाजिक संगठन है जो विगत 17  वर्षों से अनेकों सामाजिक क्षेत्रों के साथ-साथ 'लोकजीवन में पारदर्शिता संवर्धन और जबाबदेही निर्धारण' के क्षेत्र में निरंतर कार्यरत है l

उर्वशी ने बताया कि साल 2005 में लागू हुआ सूचना का अधिकार कानून यानि कि आरटीआई एक्ट देश के सबसे क्रांतिकारी कानूनों में एक है। इस कानून ने सरकारी सूचनाओं तक आम आदमी की पहुंच सुनिश्चित की है । कई घोटालों का खुलासा भी आरटीआई से मिली जानकारियों से हुआ है । उत्तर प्रदेश में सूचना का अधिकार अधिनियम  2005 का क्रियान्वयन कराने में उत्तर प्रदेश राज्य सूचना आयोग की भूमिका सर्वोपरि है l ऐसे में यह आवश्यक है कि यूपी का सूचना आयोग भी केन्द्रीय सूचना आयोग द्वारा आयोजित किये जाने वाले वार्षिक अधिवेशन की तर्ज पर उत्तर प्रदेश राज्य सूचना आयोग का वार्षिक अधिवेशन आयोजित करे ताकि सूबे में  सूचना के अधिकार के सभी स्टेकहोल्डर्स को भी एक प्लेटफार्म पर आकर पिछले एक साल में पारदर्शिता और जबाबदेही के लिए किये गए अपने-अपने प्रयासों को आपस में साझा करने का और आपस में विचार-विनिमय करके अपने अपने क्षेत्र में सुधार करने का मौका मिल सके l 

उर्वशी ने बताया कि संस्था के प्रबंधकीय सदस्य की हैसियत से उन्होंने आज उत्तर प्रदेश राज्य सूचना आयोग के मुख्य सूचना आयुक्त,रजिस्ट्रार,सचिव और उपसचिव को अलग-अलग  पत्र भेजकर यूपी सूचना आयोग  में हर साल केन्द्रीय सूचना आयोग की तर्ज पर वार्षिक सम्मलेन बुलाने की मांग की है और इस सम्बन्ध में एक प्रस्ताव आयोग को दिया है l मुद्दे को व्यापक जनहित से जुड़ा हुआ बताते हुए उर्वशी ने आयोग के पदाधिकारियों से प्रकरण में व्यक्तिगत ध्यानाकर्षण और समर्थन की अपेक्षा की बात कहते हुए आयोग स्तर से उनके प्रस्ताव पर गंभीरतापूर्वक विचार करके  निर्नल लेने की बात कही है l


बकौल उर्वशी उनको उम्मीद है कि उनकी मेहनत रंग लायेगी और अगले वर्ष यूपी का राज्य सूचना आयोग भी अपना वार्षिक सम्मलेन अवश्य बुलाएगा l 

Saturday, December 9, 2017

14415 Indian Army soldiers martyred in 10 years : RTI

10 सालों में भारतीय सेना के 14415  जवान शहीद : आरटीआई खुलासा l  


लखनऊ/10 दिसम्बर 2017

News Author - Urvashi Sharma ( Freelance Journalist )

YAISHWARYAJ News *Exclusive ©yaishwaryaj


यूपी की राजधानी लखनऊ निवासी  देश के जानेमाने आरटीआई एक्सपर्ट और इंजीनियर संजय शर्मा की एक आरटीआई अर्जी पर जवाब देते हुए भारतीय सेना ने बताया है  कि साल 2008 से लेकर इस साल बीते 01 नवम्बर तक बैटल कैजुअलटी में 1228 और फिजिकल कैजुअलटी में 13187 जवान शहीद हो चुके हैं। इस तरह पिछले 10 सालों में 14415 जवान देश की सेवा करते हुए अपने प्राण न्योछावर कर चुके हैं l  बीते सितंबर महीने में  संजय शर्मा द्वारा रक्षा मंत्रालय को भेजी गई आरटीआई एप्लीकेशन पर एकीकृत मुख्यालय  रक्षा मंत्रालय ( सेना ) के लेफ्टिनेंट कर्नल और जन सूचना अधिकारी ए. डी. एस. जसरोटिया ने बीते 13 नवम्बर के पत्र के माध्यम से यह जानकारी सार्वजनिक की है।


अपने प्राणों की परवाह न करते हुए देश की सीमाओं को सुरक्षित रखने के साथ-साथ देश को अंदरूनी अंतर्द्वंदों से निजात दिलाने वाले सैनिकों को ही रियल हीरो मानने वाले आरटीआई एक्टिविस्ट संजय शर्मा ने यह आरटीआई अर्जी देकर पिछले 10 सालों में सेना के अंगवार यानि कि थल सेना, जल सेना और वायु सेना के ऑन ड्यूटी शहीद हुए सैनिकों की वर्षवार सूचना माँगी थी l  थल सेना ने संजय को सूचना दे दी है जबकि जल सेना और वायु सेना से सूचना मिलना अभी शेष है l



आरटीआई के जवाब में बताया गया है कि पिछले 10 सालों में बैटल कैजुअलटी में किसी 1 साल में सबसे ज्यादा 311 जवान साल 2008 में शहीद हुए और सबसे कम 74 जवान साल 2013 में शहीद हुए l इस साल अब तक 81 जवान बैटल कैजुअलटी में अपनी जान गवां चुके हैं l संजय को यह भी बताया गया है कि 10 सालों में फिजिकल कैजुअलटी में किसी एक साल में सबसे ज्यादा 1530 जवान साल 2010 में शहीद हुए और सबसे कम 1250 जवान साल 2015 में शहीद हुए l इस साल अब तक 876 जवान फिजिकल कैजुअलटी में अपनी जान गवां चुके हैं l इस तरह इस आरटीआई से यह खुलासा हुआ है कि पिछले 10 सालों में किसी 1 साल में सबसे ज्यादा 1720 जवान साल 2010 में  ऑन ड्यूटी शहीद हुए और सबसे कम 1359 जवान साल 2013 में ऑन ड्यूटी शहीद हुए l इस साल अब तक 957 जवान ऑन ड्यूटी अपनी जान गवां चुके हैं l



मानवाधिकार संरक्षण के क्षेत्र में सराहनीय काम करने वाले और पेशे से इंजीनियर संजय शर्मा ने इस स्वतंत्र पत्रकार को एक विशेष बातचीत में बताया कि इस प्रकार पिछले दस सालों में प्रतिवर्ष औसतन 123 जवान बैटल कैजुअलटी में , 1319 जवान फिजिकल कैजुअलटी में और इस प्रकार कुल 1442 जवान ऑन ड्यूटी  शहीद हो रहे हैं l संजय का कहना है कि इन आंकड़ों से स्पष्ट है कि अगर साल 2016 को छोड़ दें तो साल 2012 से अब तक प्रतिवर्ष शहीद होने वाले कुल सैनिकों की संख्या पिछले 10 सालों  के औसत से कम रही है l संजय के अनुसार उन्होंने आरटीआई इसलिए दायर की थी क्योंकि वे देश को बताना चाहते थे कि  देश को सुरक्षित रखने और देश में अमन चैन कायम रखने के लिए आखिर हमें  कितनी बड़ी कीमत चुकानी पड़ रही है l 

संजय को दी गई वर्षवार सूचना पर एक नज़र ->

Year
Battle Casualty
Physical Casualty
Total
8
311
1323
1634
9
114
1464
1578
10
190
1530
1720
11
76
1423
1499
12
85
1350
1435
13
74
1285
1359
14
77
1307
1384
15
109
1250
1359
16
111
1379
1490
17
81
876
957
Total
1228
13187
14415


नई दिल्ली के विज्ञान भवन में बीते बुधवार हुए  केन्द्रीय सूचना आयोग के 12वें वार्षिक सम्मेलन में “मामले से लेना-देना रखने वाले लोगों को ही आरटीआई मांगने देने की  प्रणाली विकसित करने” की बात करने के केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह के बयान की भर्त्सना करते हुए एक्टिविस्ट संजय ने कहा है कि मौका मिलने पर वे सिंह से इस सबाल का उत्तर जानना चाहेंगे कि यदि उनकी मनचाही हुई तो क्या इस आरटीआई जैसी जनहित की आरटीआई दायर हो पाएंगी और क्या तब सैनिकों की शौर्यगाथा के ऐसे खुलासे हो पाएंगे ?



संजय ने बताया है कि वे देश के राष्ट्रपति को पत्र लिखकर मांग करेंगे कि सैनिकों की साहसिक अमर गाथा की यह जानकारी सैनिकों के नाम के साथ नियमित समय अंतराल पर जनता को सार्वजनिक तौर पर दी जाए  

Find original RTI & its reply at exclusive weblink http://upcpri.blogspot.in/2017/12/1442-10-14415-rti-l.html


News Author - Urvashi Sharma ( Freelance Journalist )

YAISHWARYAJ News *Exclusive ©yaishwaryaj